सविता तिवारी(7987910532)
एक्सपोज़ टुडे,ग्वालियर।
केन्द्रीय विधि एवं न्याय राज्य मंत्री एसपीएस बघेल ने कहा है कि केन्द्र सरकार देश की अदालतों में बढते मामलों को देखते हुये उनके शीघ्र निपटान के लिये प्रयास रत है। इसी के तहत जहां गत आठ माह में उच्चतम न्यायालयों और उच्च न्यायालयों में एक सौ से अधिक न्यायधीशों की नियुक्ति की गई है। वहीं फास्ट ट्रेक कोर्ट के लिये केन्द्र सरकार बडी मात्रा में राज्य सरकारों को धन आवंटित किया जाकर वर्चुअल सुनवाई के लिये आवश्यक उपकरण के लिये समस्त राज्यों को पैसा आवंटित कर रही है।
केन्द्रीय विधि एवं न्याय राज्य मंत्री एसपीएस बघेल से विशेष चर्चा के दौरान पूछे गये प्रश्रों का उत्तर दे रहे थे। उन्होंने बताया कि इसके लिये वह स्वयं और केन्द्रीय मंत्री किरण रिजुजू द्वारा पूरा खाका तैयार कर राज्यों को समुचित मदद की जा रही है। उन्होंने बताया कि इतना ही नहीं कुछ महत्वपूर्ण मामलों में न्यायालयों द्वारा डे टू डे सुनवाई कर एक सप्ताह के अंदर ही मृत्यु दंड तक की सजा सुनाई है। उन्होंने बताया कि केन्द्र सरकार सांइटिफिक एविडेंस पर अधिक ध्यान देते हुये पोलीग्राफ टेस्ट, डीएनए , फुटप्रिंट, फिंगर प्रिंट बायलोजीकल टेस्ट नारको , लाई डिटेक्टर के लिये उपकरण समस्त राज्य सरकारों को उपलब्ध कराये जा रहे हैं। केन्द्रीय मंत्री बघेल ने बताया कि केन्द्र एवं राज्य सरकारें छोटे अपराधों को लोक अदालतों के माध्यम से निपटाने का लगातार प्रयास कर रही है। इतना ही नहीं मेडियेशन बिल जिसे मैने हाउस में रखा है उसके पास होते ही खासतौर पर कारपोरेट आदि का अदालतों के बाहर भी निबटारा होने लगेगा।
केन्द्रीय मंत्री ने बताया कि भारत सरकार आईपीसी १८६० , सीआरपीसी १९७३ एवं इंडियन एविडेंस एक्ट १९६३ में भी विधि विशेषज्ञों , नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी, बार एसोसियेशन एवं बार कौंसिल के सुझावों को लेकर शीघ्र ही परिवर्तन लायेगी जिससे सस्ता , सरल, त्वरित न्याय लोगों को मिल सके। उन्होंने कहा कि इंडियन एविडेंस एक्ट में परिवर्तन कर समय के अनुकूल एविडेंस एक्ट को तैयार किया जायेगा। ताकि अपराधियों को वर्तमान परिवेश में सजा दिलाई जा सके।
हाल ही में दिल्ली की जहांगीरपुरी में हनुमान जयंती पर हुये दंगोंं के बारे में पूछे एक सवाल के जबाब में केन्द्रीय मंत्री बघेल ने कहा कि भारत में भारत के संविधान में सभी धर्म, वर्ग के लोगों को धार्मिक स्वतंत्रता , उनकी पूजा पद्धति की पूरी छूट दी है। हनुमान जयंती पर पूर्व की भांति एक शोभा यात्रा निकल रही थी जिस पर कुछ असमाजिक तत्वों एवं एक धर्म विशेष के लोगों ने सुनियोजित तरीके हमला कर कानून व्यवस्था को बिगाडा । उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में हिंसा का कोई स्थान नहीं है। दिल्ली पुलिस ने इस संदर्भ में सुसंगत धाराओं में मामला पंजीकृत कर विवेचना शुरू कर दी है। इस मामले में कुछ की गिरफ्तारी भी हुई है तथा अपराधियों के खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की जायेगी। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि कुछ लोगों को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी का सबका साथ, सबका विश्वास, सबका विकास सबका प्रयास रास नहीं आ रहा है। ऐसे लोग इस प्रकार की घटनाओं को करके देश की एकता अखंडता भाईचारा सामाजिक समरसता को तोडना चाहते हैं। ऐसी घटनाएं करके वह देश के विकास को भी अवरूद्ध करना चाहते हैं।
उत्तर प्रदेश के आगरा में उच्च न्यायालय की काफी वर्षो से चली आ रही मांग के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि देश के किसी भी राज्य मेें उच्च न्यायालय की बैंच को लेकर जब कोई बिल आता है उसपर विचार कर करने के लिये राज्य के मुख्य न्यायाधीश राज्य में पीठ की मांग को मुख्यमंत्री और राज्यपाल के माध्यम से राज्य सरकार खंडपीठ की योग्यता को ध्यान में रखते हुये अपनी संस्वीकृति सहित राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री द्वारा केन्द्र सरकार को भेजती है। उसपर विचार होता है एवं उसके बुनियादी ढांचे के लिये धन को भी आवंटित किया जाता है। जहां तक आगरा में खंडपीठ की बात है उसके बुनियादी ढांचे के लिये सांसद निधि से पैसा दिया जा रहा है। जगह का चयन हो चुका है उसका भूमि पूजन भी हो चुका है। एयर कनेक्टिविटी के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि यात्रियों की सुविधा के लिये उनके व्यक्तिगत प्रयासों से आगरा- भोपाल, आगरा -लखनऊ, आगरा-मुंबई, आगरा- बैंगलोर की हवाई सेवा शुरू हो चुकी है। केन्द्रीय मंत्री एसपीएस बघेल ने बताया कि आगरा का हवाईअडडा ६०-७० वर्ष पुराना है। पिछले ७० सालों से दिल्ली आगरा खजुराहो की हवाई सेवा ही थी अब केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने आगरा से कई शहरों को हवाई सेवा से जोडने का काम किया है।
केन्द्रीय मंत्री एसपीएस बघेल से करहल में विधानसभा चुनावों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि उनके द्वारा जब करहल से विधानसभा के लिये नामांकन किया उससे पहले पूर्व सीएम एवं सपा के मुखिया अखिलेश यादव ने भी अपना नामांकन ३० जनवरी को भरा। उन्होंने घोषणा की कि वह चुनाव में प्रचार करने नहीं आयेंगे , लेकिन जब उन्होने नामांकन दाखिल किया तो उसके बाद से पूरा यादव परिवार करहल की सीट पर ही उलझ कर रह गया। उन्होंने कहा कि एक दिन में हेलीकाप्टर से चार पांच सभाएं की जाती है तो यादव परिवार द्वारा लगभग ४०८ चुनावी सभाएं कर कम मार्जिन से हारने वाली सीटों पर ध्यान देकर चुनाव प्रचार कर जीत सकता था। लेकिन ऐसा यादव परिवार नहीं कर सका इतना ही नहीं अखिलेश यादव को अपने बीमार पिता श्री मुलायम सिंह यादव तक को प्रचार के लिये लाना पडा । उन्हें रैली भी करना पडी दोबारा ना आने की कहने के बाद भी आना पडा। उन्होंने कहा कि पार्टी का उददेश्य चुनाव जीतना या हारने का नहीं था। पार्टी का उददेश्य यादव परिवार को एक सीट पर उलझाये रखना था। उसमें सफलता मिली और भाजपा की सीटों की संख्या बढने में भी यह नीति कारगर रही।