September 23, 2024

भारत मिशन का नया कदम- तीर्थयात्रा पर करो संकल्प, नहीं करेंगे गन्दा प्रभु का घर। अमरनाथ यात्रा में इस बार मिलेगा आने वाली पीढ़ियों की खुशहाली का वरदान।

एक्सपोज़ टुडे। 
श्रीनगर। अमरनाथ यात्रा इस बार अनूठी दिख रही है। श्रद्धालु को बाबा बर्फानी के दर्शन के पहले एक संकल्प ले  रहे हैं। ॐ जय शिव ओंकारा, मिटायेंगे कचरा सारा, हम लेते हैं संकल्प, नहीं करेंगे गन्दा बाबा का घर। आप ये संकल्प लीजिये आपको आनी वाली पीढ़ियों की खुशहाल ज़िंदगी का वरदान मिलेगा। यात्रा के पहले चरण से ही इसका असर दिखाई देने लगा है। यात्रियों को जागरूक किया जा रहा है।
ये सिर्फ एक संकल्प नहीं एक सोच है, पर्यावरण के प्रति अपना धर्म निभाने की। इस सोच की बुनियाद रखी है  जम्मू काश्मीर के डिपार्टमेंट ऑफ़ रूरल डेवलपमेंट ने। विभाग इस बार यात्रा को कचरा मुक्त बनाने में जुटा है। इस अभियान का जिम्मा  आईएएस अधिकारी और सेक्रेटरी रूरल डेवलपमेंट जम्मू & काश्मीर सुश्री मनदीप कौर ने लिया है। सुश्री कौर के  अनुसार इस वर्ष सरकार के मार्गदर्शन  स्वच्छ भारत अभियान और यूएनईपी की “ओनली वन अर्थ “ को गाइड लाइंस मानते हुए यह तय किया गया कि  बाबा अमरनाथ जी के निवास और पवित्र गुफा दर्शन के इस आयोजन को पूर्णत: सस्टेनेबल और कचरा मुक्त  रखा जाए। इसका उद्देश्य  प्रकृति, पहाड़ों , ग्लेशियर्स की रक्षा के साथ-साथ इस यात्रा को एक मिसाल बनाना है।
सुश्री कौर ने बताया कि इस यात्रा को जीरो लैंड फिल और सस्टेनेबल बनाने की जिम्मेवारी स्टॉर्टअप स्वाहा को जम्मू काश्मीर सरकार और डिपार्टमेंट ऑफ़ रूरल डेवेलपमेंट एंड सेनिटेशन के माध्यम से दी गई है | स्वाहा आईआईटी  इंदौर में इन्क्युबेट हुआ है। स्वाहा देश सबसे स्वच्छ शहर इंदौर से शुरू हुआ देश का सबसे प्रतिष्ठित सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट स्टार्ट अप है, ये देश के लगभग नौ शहरों में कार्यरत है | युवा आईआईटी के आंत्रप्रेन्यौर  रोहित अग्रवाल, ज्वलंत शाह और स्टार्ट-अप मैन समीर शर्मा के साथ मिलकर इसे आगे बढ़ा रहे हैं | इन्हें बेस्ट स्टार्टअप स्मार्ट सिटी 2020  अवार्ड और इंटरनेशल सस्टेनेबिलिटी अवार्ड दिया जा चुका है।
प्रतिवर्ष अमरनाथ यात्रा में 500 टन कचरा निकलता है। ये कचरा यात्रा मार्ग के पूरे पहाड़ी इलाकों में फैलकर जमीन में दब जाता है। इसके असर से पर्यावरण  दूषित  हो रहा है भविष्य में जल निकासी की समस्या का  कारण भी ये लापरवाही बन जायेगी। प्लास्टिक और पॉलीथिन  के पहाड़ों और नदियों को गन्दा कर  रहे हैं । इस वर्ष करीब आठ लाख यात्रियों के अमरनाथ आने की सम्भावना है। ऐसे में कचरा मुक्त यात्रा एक बेहतर प्रयास है। पूरे कचरे को एकत्रित कर रिसायकल किया जाएगा।
 सौर ऊर्जा पर रहेगा  जोर
स्वाहा अपने सस्टेनेबल सोल्यूशन के तहत पैराबोलिक सोलर कांसेंट्रेटर्स  लगाने जा रही है | रूरल डेवेलपमेंट डिपार्टमेंट द्वारा इस अनोखे प्रयोग से आगे आने वाली यात्राओं को पूर्णत सोलर, सस्टेनेबल और प्रदूषण मुक्त किया जाने की यह बेहद सकारात्मक पहल है | यह सोलर कांसेंट्रेटर्स पानी उबालने, खान पकाने, दाल, चावल, आलू, मैगी, चाय , दूध आदि को उबालने और पकाने में सक्षम है | इस बार इनके दो मॉडल्स कम्युनिटी कुकिंग और डोमेस्टिक मॉडल प्रयोग रूप में बेस कैम्पस में इंस्टाल किया जाएगा |
कैसे चलेगा अभियान
1. जागरूकता और आग्रह
स्वाहा टीम के समीर ने बताया कि जैसे इंदौर (मध्यप्रदेश) लगातार वर्षों से स्वच्छता में नबर एक  है। उसी प्रकार वे जन जागरण एक्टिविटीज़ से तीर्थ  यात्रियों और  लंगर आयोजकों को जागरुक करेंगे और उनके साथ मिलकर इसे एक जीरो लैड फिल इवेंट  बनायेंगे | यह सबसे अधिक प्रभावकारी टूल है | यदि तीर्थयात्रियों ने प्लास्टिक लाना बंद कर दिया और अपने कचरे को सही तरीके से गीले और सूखे कचरे के बिन्स में डाल दिया तो यह बड़ी सफलता होगी | इसलिए सभी तीर्थयात्रियों से निवेदन किया जा रहा है कि आते वक्त वे अपने साथ कपड़े के या परमानेंट झोले में सामान लायें | पानी की बोतल जो बार बार इस्तेमाल हो, खाने का सामान भी मेटल या रीयुज़ेबल डिब्बों  में लायें |
2.  प्लास्टिक और पॉलीथिन पर सख्ती
पूरी यात्रा के दौरान प्लास्टिक,  पॉलिथीन पर कड़ी सख्ती रहेगी। यात्रा की शुरुआत   में ही प्लास्टिक  पॉलीथिन को चेक करके यात्रियों को इसको ले जाने से रोका
जाएगा।
3.  कचरे के अलग-अलग बॉक्स
गीले और सूखे कचरे के यात्रा मार्ग पर अलग -अलग डस्टबिन रहेंगे। यात्रियों से आग्रह किया जाएगा कि वे इस नियम का पालन करें।
Written by XT Correspondent