एक्सपोज़ टुडे।
त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के लिए तीन साल से एक स्थान पर पदस्थ अधिकारियों को जल्द हटाया जाए। यह निर्देश चुनाव के संबंध में कानून व्यवस्था की समीक्षा के दौरान मध्य प्रदेश राज्य निर्वाचन आयुक्त बसंत प्रताप सिंह ने दिए हैं। उन्होंने कहा सीमावर्ती क्षेत्रों में जांच बढ़ाई जाए। निर्वाचन आयुक्त के इस निर्देश का प्रभाव इंदौर में भी होगा क्योंकि यहां भी तीन साल से ज़्यादा समय से कई अफ़सर पुलिस और प्रशासन में जमे है।
उन्होंने पुलिस महानिदेशक विवेक जौहरी, अपर मुख्य सचिव गृह डा. राजेश राजौरा, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक आदर्श कटियार और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के साथ कानून व्यवस्था को लेकर समीक्षा की। इस दौरान अधिकारियों को निर्देश दिए गए कि तीन साल से एक ही स्थान पर पदस्थ अधिकारियों का स्थानांतरण जल्द करें। अवैध शराब एवं हथियारों को लेकर प्रभावी कार्रवाई की जाए। लंबित वारंट और चालान की तामीली सुनिश्चित कर ली जाए।
नामांकन पत्र जमा करने, जांच, चुनाव प्रचार, मतदान और मतगणना के दौरान पर्याप्त सुरक्षा बल रहे, इसकी व्यवस्था की जाए। चुनाव के प्रत्येक स्तर पर कोरोना संक्रमण की रोकथाम और बचाव के लिए दिशानिर्देशों का पालन किया जाए। ड्यूटी के दौरान पुलिसकर्मी मास्क जरूर लगाएं और दूसरों को भी प्रेरित करतें। इस दौरान आयोग के सचिव बीएस जामोद ने चुनाव की तैयारियों को लेकर प्रस्तुतीकरण दिया।
आयोग के अधिकारियों ने बताया कि आरक्षित पद से चुनाव निर्वाचन लड़ने वाले अभ्यर्थी को नामांकन पत्र के साथ जाति प्रमाण पत्र भी देना होगा। यदि अभ्यर्थी नामांकन के समय यह जमा नहीं किया जाता है तो वह जाति संबंधी शपथ पत्र नामांकन पत्र की जांच प्रारंभ होने से पहले रिटर्निंग आफिसर के समक्ष प्रस्तुत कर सकता है। इसके बिना नामांकन पत्र निरस्त कर दिया जाएगा।